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खेत में बोरे में लिपटा मिला नवज़ात का शव, रात भर रहा ठंड में, जाने कैसे बची जान

by admin
Newborn's body was found wrapped in a sack in the field, remained in the cold all night, knowing how his life was saved

Agra. आज अहोई अष्टमी के पावन पर्व पर माताएं अपनी संतानों की लंबी उम्र और उनकी खुशहाली के लिए व्रत रख रही हैं लेकिन इस पावन पर्व पर फतेहाबाद तहसील के पूठपुरा गांव में कुछ ऐसा हुआ जिसने सभी को झकझोर कर रख दिया। सुबह के समय खेत में एक बोरे में नवजात शिशु लिपटा हुआ मिला। नवजात रात भर खेत में पड़ा रहा। सुबह जब किसान खेत पर पहुंचा तो खेत में पड़ी बोरी से बच्चे के रोने की आवाज आने पर उसने बोरी खोली तो देखा उसके अंदर एक नवजात मिला। किसान ने तुरंत इसकी सूचना पुलिस को दी लेकिन सूचना मिलने पर भी पुलिस नहीं पहुँची। इसके बाद दो युवक बच्चे को लेकर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे जहाँ चिकित्सकों ने उसकी जांच की।

ठंड में रहने से स्वास्थ्य हुआ खराब

बताया जाता है कि रात भर ठंड में रहने से नवजात की तबियत खराब हो गई थी। यहां ANM ने बच्चे को अपने मुंह से सांस दी। काफी देर तक उसे अपने सीने से लगाए रखा। उसके बाद उसे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (CHC) ले जाया गया। जहां उसका इलाज चल रहा है। एएनएम रीमा का कहना है कि अभी तो वो ही उसकी मां हैं। बच्चा ठीक हो जाए इसके लिए वो पूरा प्रयास कर रही हैं।

बाजरे के खेत में रखी थी बोरी

डौकी के गांव पूठपुरा में गुरुवार सुबह बाजरा के खेतों में एक बोरी रखी थी। पास से गुजर रहे किसान को बच्चे के रोने की आवाज सुनाई दी। उसने बोरी खोल कर देखी तो अंदर एक नवजात बच्चा मिला। देखते ही देखते मौके पर भीड़ लग गई। पुलिस को भी सूचना दी गई लेकिन पुलिस मौके पर नहीं पहुँची जिसके बाद बच्चे को स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया।

मुँह से दी सांस, लगाया सीने से

प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर बच्चे को ले जाने और पूरी बात बताने पर ANM रीमा वर्मा ने रुई मंगाकर तुरंत बच्चे को उसमें लपेटा। बच्चे को सांस न आने पर उन्होंने बच्चे को अपने मुंह से सांस दी। उसकी पीठ रब की। काफी देर तक उसे अपने सीने से लगाए रखा। ताकी उसकी बॉडी का टेम्प्रेचर सामान्य हो जाए। इसके बाद वो खुद बच्चे को लेकर फतेहाबाद CHC लेकर गई। वहां उसका इलाज किया गया। रीमा ने बताया कि बच्चे की हालत ठीक नहीं थी। ऐसे में उसको बचाने के लिए मैंने अपना फर्ज निभाया है। अभी बच्चा मेरे पास है। उसे आगरा ले जाना है। ऐसे में अभी तो वो ही उसकी मां हैं। बच्चा ठीक हो जाए, इसके लिए वो पूरा प्रयास कर रही हैं। उन्होंने चम्मच से बच्चे को दूध भी पिलाया।

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