Agra. एएसआई विभाग के बाहर भगवान शिव पार्वती के स्वरूप भूख हड़ताल पर बैठ गए हैं। उनके भूख हड़ताल पर बैठे जाने से प्रशासन में भी हड़कंप मचा हुआ है। पुलिस के आला अधिकारी मौके पर पहुंच गए और उन्हें समझा-बुझाकर हटाने का प्रयास करते रहे लेकिन भगवान शिव पार्वती के स्वरूप धरने से नहीं हटे।
यह पूरा मामला ताजमहल में शाहजहां के होने वाले उर्स से जुड़ा हुआ है। अखिल भारत हिंदू महासभा के कार्यकर्ता ताजमहल में होने वाले उर्स के विरोध में भगवान शिव और पार्वती के स्वरूप रखकर एएसआई कार्यालय पहुंचे। कार्यालय के बाहर ही भगवान शिव व पार्वती के स्वरूप और हिंदूवादी संगठन के कार्यकर्ता भूख हड़ताल पर बैठ गए। हिंदू वादियों के इस तरह के प्रदर्शन की सूचना मिलते ही एएसआई और पुलिस प्रशासन में हड़कंप मच गया।
इस पूरे मामले को लेकर भगवान शिव और पार्वती के स्वरूप जो भूख हड़ताल पर बैठे है, उनका कहना था कि ‘ताजमहल तेजो महालय है। भगवान शिव का मंदिर है और इस शिव मंदिर में उर्स के दौरान बिरयानी चढ़ाई जाए, यह कैसे संभव हो सकता है। क्या भगवान शिव अब बिरयानी खाएंगे? यह किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। इसीलिए आज शिव और पार्वती के के स्वरूप खुद भूख हड़ताल पर बैठे हैं।’
अखिल भारत हिंदू महासभा की महिला विंग की अध्यक्ष मीना दिवाकर का कहना है कि ताजमहल में किसी भी तरह की धार्मिक एक्टिविटी नहीं हो सकती। इस संबंध में उनके पास सुप्रीम कोर्ट का भी आदेश है तो फिर ताजमहल में उसका आयोजन कैसे हो सकता है। अगर ताजमहल में उर्स का आयोजन हो सकता है तो फिर हिंदुओं को ताजमहल में यानी तेजो महालय में पूजा का अधिकार क्यों नहीं है। यह भूख हड़ताल जब तक जारी रहेगी जब तक उन्हें कोई ठोस आश्वासन नहीं मिल जाता है।