आगरा। सैंया थाना क्षेत्र के झील का पुरा गांव मौजा दनकशा में वर्ष 2020 से लाखन सिंह और कप्तान सिंह के बीच में जमीनी विवाद चल रहा था। यह जमीनी विवाद एसडीएम खेरागढ़ की कोर्ट में विचाराधीन था। पीड़ित लाखन सिंह कुशवाहा का कहना है कि एसडीएम कोर्ट खैरागढ़ के अलावा इस जमीनी विवाद के लिए सिविल सूट भी दायर किया गया था जिसमें अग्रिम तारीख लगी हुई है। पीड़ित लाखन सिंह कुशवाहा का आरोप है कि इस मामले में कई बार राजस्व विभाग और प्रशासनिक अधिकारियों के आदेश पर पैमाइश भी कराई जा चुकी है। मगर अभी तक एसडीएम खेरागढ़ द्वारा कोई भी निर्णय नहीं लिया गया है।
पीड़ित लाखन सिंह कुशवाहा का आरोप है कि दिनांक एक जुलाई को एसडीएम खेरागढ़ पुलिस फोर्स के साथ झील के पुरा गांव पहुंची और बिना आदेश के विवादित जमीन को ट्रैक्टर से जुतवाकर चली गई। पीड़ित लाखन सिंह कुशवाहा का कहना है कि जब अधिवक्ता द्वारा एसडीएम खेरागढ़ के न्यायालय से नकल सवाल मांगा गया तो लिखित तौर पर एसडीएम खेरागढ़ द्वारा न्यायालय से जो प्रति प्राप्त हुई है। उसमें विवादित जमीन के प्रकरण पर एसडीएम खेरागढ़ द्वारा कोई भी आदेश नहीं किया गया है। लिहाजा इस मामले में पीड़ित ने जिला अधिकारी आगरा और मंडलायुक्त आगरा को एसडीएम खेरागढ़ द्वारा की गई कार्यवाही की लिखित शिकायत कर कार्यवाही की मांग की है।
मंडलायुक्त अमित कुमार गुप्ता ने पीड़ित के प्रार्थना पत्र पर एसडीएम खेरागढ़ को तलब किया है और पीड़ित को न्याय का भरोसा दिलाया गया है। पीड़ित लाखन सिंह कुशवाहा का कहना है कि न्याय के लिए उन्होंने मुख्यमंत्री और उप मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश से मुलाकात का समय भी लिया है। जल्द ही उपमुख्यमंत्री और मुख्यमंत्री को भी इस प्रकरण से अवगत कराया जाएगा। लिखित में शिकायत की जाएगी।