Agra. आगरा के जिला अस्पताल का दायरा बढ़ता चला जा रहा है। आगरा के अलावा आसपास के जिलों से भी मरीज उपचार कराने के लिए आगरा के जिला अस्पताल आते हैं। जिला अस्पताल जरूरत की अधिकतर सुविधाओं से लैस है सिर्फ एमआरआई को छोड़कर। जिम्मेदार अधिकारी अस्पताल में एमआरआई मशीन को लेकर गंभीर है और शासन से लेकर सरकार को पत्र लिख रहे हैं लेकिन सरकार के नुमाइंदे गंभीर नहीं है।
सूत्रों की माने तो हाल ही में सूबे के उपमुख्यमंत्री जो स्वास्थ्य मंत्री भी है, उन्होंने स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार अधिकारियों के साथ बैठक कर सरकारी अस्पतालों की स्थिति और जरूरतों को जाना था, साथ ही समस्याएं भी पूछी थी। इस पर जिला अस्पताल के जिम्मेदार अधिकारी ने जिला अस्पताल के लिए एमआरआई मशीन की मांग कर दी जिस पर स्वास्थ्य मंत्री नाराज हो गए। कहने क्या किसी सरकारी अस्पताल में एमआरआई मशीन है। इस पर अधिकारी शांत हो गए।
लेकिन जब उन्हें बताया गया कि जिला अस्पताल अब एक तरह से मंडलीय अस्पताल बन गया है। जिला अस्पताल में एमआरआई मशीन के लिए भवन बना हुआ है जबकि मशीन नहीं है। इसके लिए कई बार प्रस्ताव भेजा जा चुका है और मंडल भर से मरीज इलाज के लिए आते हैं तब स्वास्थ्य मंत्री का मिजाज हल्का हुआ और उन्होंने सहमति जताई।
स्वास्थ्य मंत्री ने अधिकारी से यह भी कहा कि मरीजों की लंबी लाइन व अव्यवस्थाओं की खबरे लगातार सुर्खियों में है, ऐसा क्यों है। इस पर अधिकारी ने कहा कि जिला अस्पताल में चिकित्सीय सुविधाओं पर मरीजों का भरोसा बढ़ा है। इसलिए मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है लेकिन उस हिसाब से जिला अस्पताल की ओपीडी की जगह कम पड़ रही है। फिर भी मैनेज किया जा रहा है।
तीन वर्ष पहले बनी थी बिल्डिंग
जिला अस्पताल में चिकित्सीय सुविधाओं में इजाफा किया गया है। इसी उम्मीद के साथ जिला अस्पताल प्रशासन ने एमआरआई मशीन के लिए लिखा पढ़ी शुरू कर दी थी। लगभग 3 वर्ष पहले इसी आशय से लगभग 96.87 लाख की लागत से एमआरआई भवन का निर्माण किया गया था।
आगरा जिला अस्पताल के जिम्मेदार अधिकारी ने बताया कि स्वास्थ्य मंत्री से मिले आश्वासन से उम्मीद जगी है कि जिला अस्पताल में जल्द ही एमआरआई मशीन लगा दी जाएगी। इसके बाद मरीज को मिलने वाली सुविधाओं में एक और सुविधा बढ़ जाएगी।