आगरा। ताजनगरी की दक्षिण विधानसभा सीट धीरे धीरे सभी पार्टियों की निगेहबान बनती जा रही है। पार्टी के संभावित प्रत्याशी से लेकर पार्टी हाईकमान तक दक्षिण विधानसभा सीट को लेकर काफी दिलचस्पी दिखा रहे हैं। एक तरफ दक्षिण विधानसभा सीट जहां सत्तारूढ़ पार्टी के लिए वर्चस्व का मुद्दा बन चुकी है तो वहीं दूसरी ओर विपक्ष पार्टियों ने जिस तरह से संभावित प्रत्याशी के पत्ते खोले हैं, उसके बाद यहां के समीकरण पिछले दो-तीन दिन में काफी बदल चुके हैं। फिलहाल अब इस सीट पर सभी पार्टियों की बराबर की लड़ाई हो चुकी है।
कांग्रेस के कद्दावर नेताओं के मंसूबों पर फिरा पानी
बताते चलें कि आगरा की सभी विधानसभा सीट में खासतौर से दक्षिण विधानसभा सीट से कांग्रेस के बड़े-बड़े कद्दावर नेता यहां से दांव लगाने की तैयारी कर रहे थे। कांग्रेस हाईकमान द्वारा चलाए गए अभियान में बढ़-चढ़कर भाग लेकर तमाम बड़े चेहरे अपने को हाइलाइट कर यहां से प्रत्याशी बनने की जुगत में थे लेकिन इन सभी नेताओं की मेहनत पर प्रियंका गांधी ने पानी फेर दिया है। क्योंकि पिछले दिनों वाल्मीकि समाज से संवाद करने के लिए आगरा ही प्रियंका गांधी ने दक्षिण विधानसभा सीट से वाल्मीकि समाज से प्रत्याशी को खड़ा करने का फैसला किया है। वाल्मीकि समाज से यहां कांग्रेस में कोई बड़ा चेहरा नहीं है। वहीँ प्रियंका गांधी से इस ऐलान के बाद दक्षिण विधानसभा सीट पर कांग्रेस के सभी दिग्गज़ नेता अब ठंडे हो गए हैं।
भाजपा कशमकश में
वहीं अगर सत्तारूढ़ पार्टी भाजपा की बात करें तो दक्षिण विधानसभा सीट पर इस बार किसी नए चेहरे को विधानसभा का प्रत्याशी बनाए जाने की चर्चाएं जोरों पर हैं। इसका खुलकर विरोध इसलिए नहीं हो पा रहा है क्योंकि इसके संकेत पार्टी हाईकमान से मिले हैं। इसके चलते भाजपा यहां पर दो भागों में बंटी हुई नजर आ रही है।

बसपा को होगा फ़ायदा
कांग्रेस और भाजपा दोनों पार्टी से ही दक्षिण विधानसभा सीट से विधानसभा प्रत्याशी के रूप में नया चेहरा सामने आने पर पार्टी को जीतने के लिए काफी मेहनत करनी होगी। वहीँ यूपी विधानसभा चुनाव 2022 के रूख़ को देखते हुए बसपा यहां पर पहले ही ब्राह्मण समाज से दांव खेल चुकी है। साथ ही बसपा पार्टी से दलित व विशेष समुदाय का ख़ासा जुड़ाव रहता है जो कि दक्षिण विधानसभा सीट पर बहुतायत संख्या में है। इतना ही नहीं इस सीट पर पिछले दो विधान सभा चुनाव में बसपा दूसरे नंबर पर रही है।
जहां अभी तक भाजपा और बसपा से दक्षिण विधानसभा सीट पर कोई भी प्रत्याशी घोषित नहीं हो पाया है तो वहीं बसपा से घोषित प्रत्याशी रवि भारद्वाज लगातार क्षेत्रों में जाकर लोगों से मिल रहे हैं। रविवार से उनका जनसंपर्क अभियान भी शुरू होने जा रहा है। ऐसे में साफ है कि दक्षिण विधानसभा सीट पर बसपा इस समय मजबूत स्थिति में है।