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मेला हमारी संस्कृति की पहचान – महापौर नवीन जैन

by pawan sharma

फतेहाबाद। मेले हमारी संस्कृति की पहचान है। हमें मेलों का आयोजन करते रहना चाहिए। मेला शब्द मेल से बना है। इन मेलों में अपने इष्ट मित्रो एवं रिश्तेदारों से मुलाकात कर अपनी पुरानी यादें को ताजा करते हैं। यह कहना था आगरा महानगर के मेयर नवीन जैन का। महापौर नवीन जैन कंस मेले के समापन समारोह मे पहुँचे थे जहाँ पर महापौर नवीन जैन ने बेहतर झांकियां सजाने के लिए लोगों को पुरुस्कृत किया साथ ही इस आयोजन को सफल बनाने में जुटे मेला कमेटी के पदाधिकारियों को सम्मानित भी किया।

महापौर नवीन जैन ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि
हमारा क्षेत्र बृज क्षेत्र है। यहां पर भगवान श्रीकृष्ण ने अपनी लीलाओं को किया है। यह कंस मेला एक शतक वर्ष से भी पुराना है। हमारा दायित्व बनता है कि इस मेले को और भव्य रुप दे। महापौर का कहना था कि इस मेले का नाम कंस मेला इसलिए रखा गया है कि कोई भी व्यक्ति कंस जैसा आचरण न करे। उन्होंने लोगों से अपील की कि वे भगवान श्रीकृष्ण के बताए गए मार्ग पर चले।

उन्होंने दधिलीला मेला कमेटी एवं कंस मेला कमेटी के अध्यक्षों एवं पदाधिकारियों का मेला आयोजन को सफल बनाने के लिए बधाई दी। बृज प्रदेश के उपाध्यक्ष नागेंद्र गामा ने कहा कि यह क्षेत्र भगवान श्रीकृष्ण की बाल लीलाओं का केंद्र है। यहां पर ऐसे मेलों का आयोजन होते रहना चाहिए।

इस अवसर पर नगर पंंचायत अध्यक्ष आशा देवी चक, विकास शल्या, सुशील शर्मा, महेश सिसोदिया, बबीता चौहान, नितिन गुप्ता अध्यक्ष दधि लीला मेला कमेटी, वरुण अनवारिया अध्यक्ष कंस मेला कमेटी, नेपाल सिंह, राजेश शर्मा, राजेश कुशवाहा, अमित गोरख, डा.कृष्ण मुरारी शर्मा, मनीष चक , जितेश चौहान, विनोद गुप्ता, अवकेश गोलस आदि मौजूद रहे।

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