पिछले 17 दिनों से कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का आंदोलन बदस्तूर जारी है। दिल्ली की अलग-अलग सीमाओं पर हजारों की संख्या में किसान अपने हक के लिए डटे हुए हैं।वहीं किसानों का कहना है कि चाहे जो हो जाए वो अपने संकल्प से पीछे नहीं हटेंगे। लेकिन अब यह आंदोलन और तेज रूप धारण करने लगा है। देश के अलग-अलग राज्यों से हजारों की संख्या में और भी किसान दिल्ली कूच के लिए तैयार हैं। इसी बीच आई एक रिपोर्ट के अनुसार इस 17 दिन के आंदोलन के बीच 11 किसान अब तक दम तोड़ चुके हैं।
किसानों की मौत का आंकड़ा बढ़ने पर आक्रोशित होते हुए राहुल गांधी ने सरकार से ट्वीट कर सवाल पूछा है कि “कृषि कानूनों को हटाने के लिए हमारे किसान भाइयों को और कितनी आहुति देनी होगी?”इसके साथ ही उन्होंने उन किसानों की तस्वीर भी शेयर की है।
दरअसल किसान सरकार से तीनों नए कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग कर रहे हैं। इसके साथ ही एमएसपी पर लीगल गारंटी दी जाने की भी मांग है। फिलहाल सरकार किसानों की मांगें मानने को तैयार नहीं है वहीं सरकार का साफ कहना है कि वह इन कानूनों में संशोधन के लिए तैयार हैं लेकिन कृषि बिलों को वापस नहीं लिया जाएगा।
सरकार का साफ कहना है कि वह इन कानूनों में संशोधन के लिए तैयार है लेकिन वह इन्हें वापस नहीं लेगी। कुछ दिनों पहले सरकार ने किसानों के पास एक प्रस्ताव भेजा था जिसे किसानों ने ठुकरा दिया क्योंकि उस प्रस्ताव से किसानों की मांगें पूरी नहीं हो रही थी।