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बजट 2020 में शिक्षा-स्वास्थ्य-स्वच्छ भारत के लिए योजनाओं का पिटारा, यहां पढ़ें पूरा बजट

by admin

आगरा। शनिवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 2020 के लिए आम बजट पेश किया। आम बजट पेश करने के दौरान उन्होंने दीनानाथ कौल की कश्‍मीरी भाषा में लिखी कविता को पढ़ा था और फिर हिंदी में इसका अनुवाद पढ़कर सुनाया। हिंदी में यह कविता कुछ इस तरह से थी, ‘हमारा वतन खिलते हुए शालीमार बाग जैसा, हमारा वतन डल झील में खिलते हुए कमल जैसा, नौजवानों के गर्म खून जैसा, मेरा वतन तेरा वतन, हमारा वतन, दुनिया का सबसे प्‍यारा वतन।’ दीनानाथ कौल को देश के प्रतिष्ठित साहित्‍यकार थे जिन्हें साहित्य अकादमी अवॉर्ड से सम्‍मानित किया गया था। इसके बाद वित्तमंत्री ने बजट को पढ़ा। वित्त मंत्री के पिटारे से शिक्षा-स्वास्थ्य-स्वच्छ भारत के लिए विभिन्न योजनाओं की घोषणा की।

शिक्षा के लिए 99,300 करोड़ का प्रस्ताव:-

वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि केंद्र सरकार शीघ्र ही नई शिक्षा नीति लेकर आएगी और सरकार को इस संबंध में दो लाख से ज्यादा सुझाव मिल चुके हैं। सीतारमण ने 2020-21 का बजट पेश करते हुए कहा कि अगले वित्त वर्ष में शिक्षा के लिए 99,300 करोड़ रुपये आवंटित हुए हैं। वित्त मंत्री ने कहा कि शिक्षा क्षेत्र में बाह्य वाणिज्यिक उधारी और प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) आकर्षित करने के लिए कदम उठाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि सरकार युवा इंजीनियरों को इंटर्नशिप का अवसर देने के उद्देश्य से शहरी स्थानीय निकायों के लिए एक कार्यक्रम शुरू करने की योजना बना रही है। उन्होंने कहा कि सरकार का प्रस्ताव मेडिकल कॉलेजों को जिला अस्पतालों के साथ पीपीपी (सार्वजनिक निजी साझेदारी) मॉडल पर जोड़ने का भी है ताकि डॉक्टरों की कमी दूर हो सके।

वित्त मंत्री ने कहा कि शिक्षकों, नर्सों, पाराचिकित्सकों और सेवा देने वालों के लिए विशेष प्रशिक्षण पाठ्यक्रम भी शुरू किए जाएंगे। जिला अस्पतालों में अब मेडिकल कॉलेज बनाने की योजना भी बनाई जाएगी। राष्ट्रीय पुलिस विश्वविद्यालय, राष्ट्रीय न्यायिक विज्ञान विश्वविद्यालय बनाने का प्रस्ताव रखा गया है। डॉक्टरों के लिए एक ब्रिज प्रोग्राम शुरू किया जाएगा, ताकि प्रैक्टिस करने वाले डॉक्टरों को प्रोफेशनल बातों के बारे में सिखाया जा सके।

फिट इंडिया मूवमेंट को गति स्वस्थ्य पर 69000 करोड़ होंगे खर्च:-

सेहत सुधारने के लिए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2020-21 का बजट पेश करते हुए स्वास्थ्य क्षेत्र में कई बड़ी घोषणाएं की हैं। उन्होंने स्वास्थ्य क्षेत्र के कुल आवंटन को अतिरक्त 69,000 करोड़ रुपये देने की घोषणा की है जिससे फिट इंडिया मूवमेंट को बढ़ावा मिल सके। उन्होंने कहा कि देशभर में ‘टीबी हारेगा देश जीतेगा’ अभियान चलाया जाएगा, जिसके तहत साल 2025 तक टीबी को पूरी तरह खत्म किया जाएगा। आयुष्मान भारत योजना में अस्पतालों की संख्या को बढ़ाया जाएगा, ताकि T-2, T-3 शहरों में मदद पहुंचाई जाएगी। इसके लिए पीपीपी मॉडल की मदद ली जाएगी, जिसमें दो फेज़ में अस्पतालों को जोड़ा जाएगा। केंद्र सरकार की ओर से चलाए जा रहे इंद्रधनुष मिशन का विस्तार किया जाएगा।

महिलाओं से जुड़ी योजनाओं के लिए 28,600 करोड़ रूपये खर्च करने की बात की जा रही है। जिसमें 6 लाख से ज्यादा आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को दिए गए स्मार्टफोन शामिल हैं, जो दस करोड़ घरों की महिलाओं तक पहुंचने के लिए उनको दिए गए हैं। जो पोषण आहार से जुड़ी जानकारी जुटा रहे हैं और अगले छह महीने में अपनी रिपोर्ट देगी

स्वच्छ भारत मिशन के लिए 12300 करोड़:-

स्वच्छ भारत के लिए 2020-21 में 12,300 करोड़ रुपये आवंटित किया गया और सरकार घरों तक पाइप के माध्यम से जल आपूर्ति के लिए 3.6 लाख करोड़ रुपये आवंटित कर रही है। 

स्किल डेवलपमेंट के लिए 3000 करोड़ का प्रस्ताव:-

वित्त मंत्री निर्मला सितारमण ने आम बजट 2020-21 पेश करते हुए तीन आइडियाज पेश किए गए जिसमें एस्पीरेशनल इंडिया, इकोनॉमिक डेवलपमेंट और केयरिंग सोसाइटी शामिल हैं। इसके अलावा वित्त मंत्री ने स्किल इंडिया की बात करते हुए स्किल ट्रेनिंग के लिए 3,000 करोड़ का प्रस्ताव रखा। सरकार ने स्किल इंडिया के लिए 3,000 करोड़ का प्रस्ताव रखा है। इसमें देश के युवाओं को स्किल ट्रेनिंग दी जाएगी। निर्मला सितारमण ने कहा, ‘विदेशों में शिक्षकों, पैरामेडिकल स्टाफ और देखभाल करने वालों की भारी मांग है। हालांकि, नियोक्ताओं की मांग के अनुसार उनका कौशल कई बार मेल नहीं खाता है। इसलिए, मेरी सरकार कौशल विकास के लिए 3,000 करोड़ का प्रस्ताव करती है।’

वरिष्ठ नागरिकों और दिव्यांगों के लिए 9500 करोड़ रुपये मुहैया:-

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहाँ कि महिलाओं के लिए विवाह योग्य आयु की सिफारिश करने के लिए कार्यबल का गठन किया जाएगा। सीतारमण ने 2020-21 के लिए बजट पेश करते हुए कहा कि वरिष्ठ नागरिकों और दिव्यांगों के लिए 9500 करोड़ रुपये मुहैया कराये गये हैं, वहीं वित्त वर्ष 20-21 में पोषण संबंधी कार्यक्रम के लिए 35600 करोड़ आवंटित किये गये हैं। वित्त मंत्री ने कहा कि अनुसूचित जाति और अन्य पिछड़ा वर्ग के लिए बजट में 85 हजार करोड़ रुपये आवंटित किये गये हैं। सरकार का झारखंड के रांची में एक आदिवासी संग्रहालय खोलने का भी प्रस्ताव है, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, असम, गुजरात और तमिलनाडु में पांच पुरातत्व स्थलों पर संग्रहालय बनाये जाने हैं। सरकार ने संस्कृति मंत्रालय के लिए 3150 करोड़ रुपये और पर्यटन मंत्रालय के लिए 2500 करोड़ रुपये आवंटित किये हैं।

परिवहन की बुनियादी संरचना के लिये 1.7 लाख करोड़ रुपये के आवंटन 

वित्त वर्ष 2020-21 के आम बजट में परिवहन क्षेत्र की बुनियादी संरचना के लिये 1.7 लाख करोड़ रुपये के आवंटन का प्रस्ताव किया गया। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट पेश करते हुए कहा कि उड़ान योजना को समर्थन देने के लिए 2025 तक 100 और हवाई अड्डे विकसित करने Kई बात कही। इस दौरान 1,150 ट्रेनों को सार्वजनिक निजी भागीदारी (पीपीपी) मॉडल के तहत चलाने का प्रस्ताव है। इसके अलावा निजी क्षेत्र की मदद से चार स्टेशनों का पुनर्विकास किया जाएगा। मंत्री ने वादा किया कि पर्यटन गंतव्यों को जोड़ने के लिए निजी भागीदारी से चलने वाली तेजस जैसी और रेलगाड़ियां चलायी जाएंगी। उन्होंने कहा कि इसके अलावा रेल ट्रैक के साथ बड़ी सौर बिजली क्षमता के विकास का भी प्रस्ताव है। वित्तमंत्री ने बजट में फल-सब्जियों जैसे जल्द खराब होने वाले कृषि उत्पादों की ढुलाई के लिये विशेष रेलगाड़ी चलाने की भी घोषणा की। इन ट्रेनों में रेफ्रिजरेटर लगे होंगे, जो इन उत्पादों की लंबी दूरी तक ढुलाई सुनिश्चित करेंगे। किसान रेल गाड़ियां भी पीपीपी मॉडल के तहत चलायी जाएंगी।

बिजली और नवीकरणीय उर्जा के लिए मिले 22,000 करोड़ रुपए – 
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट 2020-21 पेश करते हुए कहा कि केंद्र ने बिजली और नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्र के लिए 22,000 करोड़ रुपये के खर्च का प्रस्ताव किया है। अपनी दूसरी बजट में वित्त मंत्री ने कहा कि केंद्र ने प्रस्ताव दिया है कि DISCOM पारंपरिक मीटरों को स्मार्ट प्री-पेड मीटरों से बदले और उपभोक्ता को बिजली आपूर्तिकर्ता चुनने का विकल्प मिल सके। राज्य सरकारों को तीन साल में पारंपरिक बिजली मीटरों को प्री-पेड स्मार्ट मीटर में बदलना होगा। वित्त मंत्री ने यह भी कहा कि प्राकृतिक गैस पाइपलाइन ग्रिड का विस्तार अब 16,000 किलोमीटर से 27,000 किमी तक किया जाएगा और प्राकृतिक गैस के लिए पारदर्शी मूल्य की खोज के लिए और सुधार किए जाएंगे।

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