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‘इबादत-ए-मौसिकी’ में गूंजी अकबराबादी – गालिब की गजलें

by admin
Akbarabadi - Ghalib's ghazals echoed in 'Ibadat-e-Mausiki'

अमृत विद्या एजुकेशन फॉर इमोट्रिलिटी सोसाइटी के तत्‍वावधान में सिकन्दरा स्थित एक होटल में सांस्कृतिक कार्यक्रम ‘इबादत-ए-मौसिकी’ का आयोजन किया गया। यह केवल मनोरंजन तक ही सीमित न होकर अध्‍यात्‍म और आत्मिक अनुभूति का एहसास करने का अवसर भी था। कार्यक्रम में प्रख्‍यात गजल गायक सुधीर नारायण आयोजन का मुख्य आकर्षण रहे।

सूर्यकांत त्रिपाठी निराला के द्वारा रचित मां सरस्वती की वंदना ‘वीणा वादनी वर दे’ की प्रस्तुति के साथ सुधीर नारायण ने कार्यक्रम शुरू किया। उनके द्वारा नज़ीर अकबराबादी, गालिब सहित कई अन्य की गजल, नज्म आदि की सरस प्रस्‍तुतियां की गयीं। शिरोमणि सिंह ने सोसाइटी कि तरफ से आये हुए मेहमानों का स्वागत किया। डॉ. संजय मिश्रा प्रवक्ता इंग्लिश आर बी एस कॉलेज आगरा ने धन्यवाद दिया। सुशील सरित ने कार्यक्रम का संचालन किया।

सामान्यत: ताजमहल के आसपास के क्षेत्रों को ही इस प्रकार के आयोजनों का केंद्र माना जाता रहा है, जबकि विरासत संपदा ‘सिकन्‍दरा’ के क्षेत्र में होने वाला संभवत: यह पहला कार्यक्रम है। इस आयोजन की सफलता से आने वाले समय में और आयोजनों का मार्ग प्रशस्त हुआ है।

कार्यक्रम में केंद्रीय विधि मंत्री प्रो. एसपी सिंह, पूर्व केंद्रीय मंत्री रामजीलाल सुमन, लल्लन प्रसाद कमिश्नर सीजीएसटी, लक्ष्मी नारायण गुप्ता, बबिता साहू एसपी विजिलेंस-डीवीएनएल, आगरा के पोस्टमास्टर जनरल राजीव, सीनियर अधिकारी पोस्ट ऑफिस आनंद, डॉ. आर सी शर्मा इतिहासकार, शायर अधिवक्ता आमिर अहमद जाफरी, डॉ मधु भारद्वाज, डॉ रोली सिन्हा, डॉ नीतू सिंह, अनिल कपूर, अनिल शर्मा , कांति शर्मा आदि की भागीदारी भी रही।

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