Home » यूनिक आईडी की अनिवार्यता के विरोध में बंद रहा आगरा का सर्राफा बाज़ार, करोड़ों का व्यापार प्रभावित

यूनिक आईडी की अनिवार्यता के विरोध में बंद रहा आगरा का सर्राफा बाज़ार, करोड़ों का व्यापार प्रभावित

by admin
Agra's bullion market remained closed in protest against the requirement of unique ID, business worth crores affected

Agra. अनिवार्य हॉलमार्किंग (Mandatory Hallmarking) को लेकर देशभर के ज्वैलर्स आज सांकेतिक हड़ताल पर है। इस सांकेतिक हड़ताल को देशभर के रत्न एवं आभूषण के 350 संघ और महासंघ ने समर्थन किया है। इस सांकेतिक हड़ताल का असर आगरा में भी देखने को मिला। अनिवार्य हॉलमार्किंग के विरोध में आगरा में सबसे बड़े सर्राफा मार्केट किनारी बाजार, सेव का बाजार और नमक मंडी थोक सराफा बाजार बंद रहा। आगरा सराफा एसोसिएशन, सराफा स्वर्णकार व्यवसायिक कमेटी, श्री सर्राफा कमेटी, किनारी बाजार सर्राफा एसोसिएशन सहित सभी क्षेत्रीय बाजार कमेटियों जो इस व्यापार बसे जुड़ी हुई थी, उन्होंने अपने प्रतिष्ठान बंद कर इस सांकेतिक हड़ताल का समर्थन किया तो वहीँ अनिवार्य हॉलमार्किंग का विरोध किया।

आपको बताते चलें कि 16 जून 2021 से देशभर में चरणबद्ध तरीके से हॉलमार्किंग को अनिवार्य कर दिया है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सरकार ने हॉलमार्किंग का लागू करने के लिए 28 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के 256 जिलों की पहचान की है।

जटिल होगी प्रणाली:-

व्यापारियों का कहना है कि हॉल मार्किंग की अनिवार्यता लेने के लिए व्यापारियों को HUID लेना अनिवार्य है। इसकी जटिल प्रक्रियाओं के कारण सराफा कारोबारी काफी परेशान हैं। यह नया नियम व्यापारियों एवं कारीगरों के लिए फासीवादी कानून है, इसलिए इस पर तत्काल रोक लगाई जानी चाहिए। यूनिक ID नियम को लेकर उनका कहना है कि देश में एक बड़ी आबादी तो गांव में रहती है।

क्या है गहनों की यूनिक आईडी का कॉन्सेप्ट:-

गहने चोरी हो जाएं या कहीं गुम जाएं, अगर यह गलाए नहीं गए हैं तो इनके वास्तविक मालिक की पहचान आसानी से हो सकेगी। जिस तरह देश के सभी नागरिकों की पहचान आधार कार्ड में UID के जरिए की गई है। ठीक उसी तरह सरकार ने इसे से ज्वैलरी के हर नग की विशिष्ट पहचान (UID) अनिवार्य बना दिया है। इस UID में बेचने वाले ज्वैलर का कोड और ज्वैलरी की पहचान दर्ज होगी। पुलिस या फिर कोई व्यक्ति जैसे ही BIS की ओर से बनाए जा रहे मोबाइल एप में यह UID डालेंगे तो यह पता चल जाएगा कि यह ज्वैलरी कब और कहां से खरीदी गई। ज्वैलर के पास इस बात की जानकारी भी होगी कि इस UID की ज्वैलरी उसने किस ग्राहक को बेची थी।

सराफा कारोबारी बोले-मैन्युफैक्चरर के पास से ID के साथ आएं गहने –

इस कारोबार के नियम के मुताबिक पूरा स्टॉक मानक ब्यूरो की वेबसाइट पर अपलोड करना है। एक एक प्रोडक्ट की डिटेलिंग होगी, सभी का नंबर जारी होगा। अब ग्रामीण सराफा व्यापारी पोर्टल या सॉफ्टवेयर कैसे ऑपरेट करेगा जबकि पहले से ही आभूषणों में हॉलमार्किंग हो रही है। गहनों का रिकॉर्ड भी सरकार के पास है और क्वालिटी पर नियंत्रण भी। अगर यूनिक आईडी का नियम जरूरी है तो इसे मैनयुफैक्चरर पर लागू करें। रिटेलर को क्यों परेशान किया जा रहा है।

शहर में करोड़ो के व्यापार प्रभावित:-

जेवरात में हॉलमार्क यूनिक आईडी के विरोध में आगरा सम्पूर्ण सराफा मार्केट बंद है। इस सांकेतिक हड़ताल के कारण एक दिन में करोड़ो रूपये का कारोबार प्रभावित होगा और सर्राफ को नुकसान उठाना पड़ेगा।

आगरा सराफा एसोसिएशन के अध्यक्ष नितेश अग्रवाल ने बताया कि हॉलमार्क को लागू करने का हमने स्वागत किया लेकिन यूनिक आईडी के लागू होने से कारोबार करना मुमकिन नहीं होगा। इसमें हर आभूषण की एक यूनिक आईडी जनरेट करनी होगी, जिसकी विक्रेता को इनमेंट्री दर्ज करनी होगी। यह व्यवहारिक रूप से संभव नहीं है। इसके विरोध में समस्त सराफा कारोबार बंद है।

Related Articles