आगरा। पिछले 9 साल से किसान जिस लड़ाई को लड़ रहे है अब उसे अंतिम रूप देना चाहते है। इसलिए किसान अब राजी ग़ैरराजी इस मामले में जन प्रतिनिधियों को शामिल कर अपने हक की लड़ाई लड़ने को मजबूर कर रहे है। रविवार की जेपी टाउन शिप के लिए अधिग्रहण की गयी जमीन के पीड़ित किसान जो काफी समय से धरना से रहे थे सभी अपने परिजनो के साथ विधायक रामप्रताप चौहान के आवास पर पहुँच गए। किसानों ने विधायक रामप्रताप चौहान के आवास का घेराव किया और वही धरने पर बैठ गए।
किसानों के घेराव करने से जाम की स्थिति बन गयी। विधायक रामप्रताप चौहान घर पर नहीं थे। पीड़ित किसान और अधिवक्ताओं के हुजूम को देखकर विधायक रामप्रताप चौहान की धर्मपत्नी बाहर आई। जिन्हें पीड़ित किसानों ने अपना दर्द सुनाया और ज्ञापन सौप इस पर कार्यवाही कराने की मांग की।
पीड़ित किसानों का कहना था कि अपनी जमीन वापस पाने और जिनकी जमीन अधिग्रहण हुई है वो अपना मुआवजा पाने के लिए धरना दे रहे है। इस धरने को एक महीने से ऊपर हो चुका है लेकिन अभी तक क्षेत्र के विधायक रामप्रताप चौहान के साथ कोई भी विधायक धरना स्थल पीड़ित किसानो से मिलने नही पहुँचा है। जबकि किसान गांधीवादी तरीके से अपना अनसन कर रहे है।
पीड़ित किसानों का कहना है कि किसानों की फसल योग्य भूमि को जे पी टाउनशिप के नाम पर जबरन अधिग्रहण किया गया किसान लगातार 9 साल से अधिग्रहण जमीन के नियम के अनुसार सभी शर्तों को पालन सरकार से करवाना चाहते हैं 64 परसेंट मुआवजा राशि दस परसेंट विकसित भूमि वापसी किसानों पर लगे कई दर्जन मुकदमे वापसी। ऐसी कई मांगे किसानों की है जिसको लेकर धरना चल रहा है।
विधायक रामप्रताप चौहान की धर्म पत्नी ने कहा कि घर मे 19 की बेटी की शादी है। शादी केके बाद विधायक जी धरना स्थल पहुचेंगे और आपकी लड़ाई को लड़ेंगे। इसके लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से वार्ता करनी हो तो वो भी होगी।
वहीं विधायक राम प्रताप सिंह ने फोन पर बताया कि वह किसानों से बात करने के लिए धरने पर गए थे और किसानों से बात होने के बाद ही आवश्यक कार्य से बाहर गए लेकिन बाद में किसानों ने दोबारा योजना बना आवास पर जाकर प्रदर्शन किया।